Toyota ने 11,500 से अधिक Hyryder SUV रिकॉल की, fuel level indicator में खराबी
Toyota Kirloskar Motor ने भारत में 11,500 से अधिक Toyota Urban Cruiser Hyryder SUVs को voluntary recall के तहत वापस बुलाया है। कंपनी के अनुसार, कुछ वाहनों में fuel level indicator सही तरीके से काम नहीं कर रहा है, जिससे driver को गलत जानकारी मिल सकती है।
इस रिकॉल का उद्देश्य संभावित safety risk को समय रहते दूर करना है।
रिकॉल का कारण और तकनीकी समस्या
Toyota की official जांच में सामने आया है कि कुछ Hyryder यूनिट्स में fuel pump module से जुड़ा sensor गलत reading दे रहा है।
इसके कारण instrument cluster पर fuel gauge सही मात्रा नहीं दिखा पाता। इससे वाहन चलते समय driver को ईंधन की वास्तविक स्थिति का सही अंदाजा नहीं लग पाता।
कुछ मामलों में यह समस्या खाली टैंक के बावजूद पर्याप्त fuel दिखाने का कारण बन सकती है, जिससे चलते वाहन में fuel खत्म होने का खतरा बढ़ जाता है।
कौन-कौन सी गाड़ियां प्रभावित
कंपनी के अनुसार, यह रिकॉल चुनिंदा batch की Toyota Hyryder गाड़ियों पर लागू है।
ये वाहन main तौर पर 2022 से 2023 के बीच manufacturing period के हैं।
हालांकि, सभी Hyryder मॉडल इस समस्या से प्रभावित नहीं हैं। Toyota ने clear किया है कि केवल specific VIN (Vehicle Identification Number) वाली गाड़ियों को ही इस सर्विस action में शामिल किया गया है।
ग्राहक Toyota की official website या authorized dealership पर जाकर अपना VIN number check कर सकते हैं।
सर्विस प्रक्रिया और समाधान
- Toyota ने प्रभावित ग्राहकों को individually contact करना शुरू कर दिया है।
- Authorized service centers पर fuel level sensor या संबंधित पार्ट की free inspection और replacement किया जाएगा।
- इस प्रक्रिया में ग्राहकों से कोई चार्ज नहीं लिया जाएगा।
- पूरा अपडेट Toyota की standard safety protocol के तहत कराया जाएगा।
ग्राहक के लिए जरूरी जानकारी
अगर आपके पास Toyota Hyryder SUV है, तो कंपनी की notification का इंतजार करें या nearest Toyota service center से संपर्क करें।
VIN verification के बाद आपको service appointment दी जाएगी।
निष्कर्ष:
Toyota का यह कदम customer safety और product reliability को बनाए रखने की दिशा में महत्वपूर्ण माना जा रहा है। रिकॉल प्रक्रिया पारदर्शी और बिना शुल्क के की जा रही है, जिससे ग्राहकों को किसी अतिरिक्त परेशानी का सामना न करना पड़े।
